काबुल। अफगानिस्तान की तालिबान सरकार अब भी महिलाओं को आजादी देने में परहेज कर रही है। देश के आंतरिक मंत्री व तालिबान के उप नेता सिराजुद्दीन हक्कानी ने कहा है कि वह इस बारे में जल्द 'गुड न्यूज' देंगे, लेकिन 'शरारती' महिलाओं को घरों में ही रहना होगा।
पिछले साल अगस्त में सत्ता में आने से पहले महिलाओं की आजादी को लेकर किए गए वादे से वह पहले ही मुकर चुकी है। उसने सत्ता में आते ही लड़कियों की पढ़ाई बंद करा दी। इसके खिलाफ जब महिलाएं मैदान में उतरीं तो छठी कक्षा तक छात्राओं को स्कूल जाने की इजाजत दी, लेकिन अन्य महिलाओं के पहनावे से लेकर अन्य मुद्दों पर सख्त पाबंदियां जारी हैं।
हक्कानी ने अब कहा है कि तालिबान सरकार छात्राओं को हाईस्कूल जाने की इजाजत देगी। इस बारे में जल्द अच्छी खबर मिलेगी, लेकिन जिन महिलाओं ने सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया था, उन्हें घरों में ही रहना होगा। इससे पता चलता है कि इस बार सत्ता में आने पर महिलाओं के प्रति उदार रहने का तालिबान का वादा खोखला निकला। सीएनएन की रिपोर्ट के अनुसार अपनी सरकार बनते ही तालिबान ने छात्राओं के स्कूल-कॉलेज जाने पर रोक लगा दी।
घर से बाहर निकलने में डरती हैं महिलाएं
जब यह पूछा गया कि तालिबान राज में महिलाएं घरों से बाहर निकलने में डरती हैं, तो तालिबान के वरिष्ठ नेता हक्कानी ने कहा कि हम 'शरारती महिलाओं' को घरों में ही रखेंगे। जब उनसे पूछा गया कि शरारती महिलाओं से उनका क्या आशय है तो, अफगान सरकार के मंत्री ने कहा, 'यह तो मजाक है, दरअसल वह उन महिलाओं का जिक्र कर रहे हैं, जो हमारी सरकार को कठघरे में खड़ा करने के लिए दूसरे पक्ष के इशारे पर काम करती हैं।
हक्कानी के नेटवर्क पर 1 करोड़ डॉलर का इनाम
अफगानिस्तान के आंतरिक मंत्री हक्कानी को अमेरिका ने वैश्विक आतंकी घोषित कर रखा है। एफबीआई ने उस पर 1 करोड़ डॉलर का इनाम घोषित किया हुआ है। हक्कानी ने सीएनएन से चर्चा में कहा कि छठी कक्षा तक की छात्राओं को स्कूल जाने की इजाजत पहले ही दी जा चुकी है। इस बारे में जल्द और अच्छी खबर देंगे। हालांकि उन्होंने इसकी कोई समय सीमा नहीं बताई। हाल ही में तालिबान ने महिलाओं को बुर्का पहनने का फरमान जारी किया है। इसका देश के महिला संगठन विरोध कर रहे हैं।