
रायपुर। मुख्यमंत्री अनुपूरक बजट पेश करते रहे इधर भाजपा के विधायकों, अजय चंद्राकर, बृजमोहन अग्रवाल, नेता प्रतिपक्ष नारायण चंदेल, धरमलाल कौशिक जोरदार हंगामा करते रहे। कानून व्यवस्था की दुहाई देकर हंगामा करते रहे। कुछ देर बाद एक तरफ प्रदेश के मुख्यमंत्री एक तरफ अलग-अलग योजना और विभागों में अनुपूरक बजट की जानकारी दे रहे थे, दूसरी तरफ भाजपा के विधायक जय-जय श्री राम के नारे लगा रहे थे। कुछ ही देर बाद सभी ने हनुमान चालीसा पढ़नी शुरू कर दी। हंगामे के बीच ही अनुपूरक बजट पेश हुआ। इस बीच बस्तर की टारगेट किलिंग पर हंगामा हुआ तो मुख्यमंत्री ने जवाब देते हुए कहा कि हम मानते हैं कि ये घटनाएं दुखद हैं, हम जांच कर रहे हैं, मगर NIA बीच में आती है तो इन घटनाओं की जांच भी भाजपा NIA से ही करवा ले, क्या दिक्कत है।
दिवंगत पूर्व सदस्यों को दी श्रद्धांजलि, साझा किए रोचक किस्से
इससे पहले सदन में दो दिवंगत पूर्व विधायकों को श्रद्धांजलि दी गई। राजिम से भाजपा के विधायक पुनीत राम साहू और भाटापारा इलाके से कांग्रेस के विधायक रहे राधेश्याम शर्मा को श्रद्धांजलि दी गई । दोनों ही अविभाजित मध्यप्रदेश के विधायक रहे। बीते 16 जनवरी को पुनीत राम साहू का 81 वर्ष की उम्र में निधन हो गया था। इसी तरह कांग्रेस के पूर्व विधायक राधेश्याम शर्मा का भी गत 23 जनवरी को निधन हो गया था। सदन में इन दोनों सियासी हस्तियों को श्रद्धांजलि देते हुए विधायकों ने कई रोचक किस्से साझा किए।
पुनीत राम साहू को लेकर नेता प्रतिपक्ष नारायण चंदेल ने कहा कि उन्होंने जिंदगी भर चप्पल नहीं पहनी। काफी बुजुर्ग हो जाने के बाद हाल के दिनों में उन्होंने चप्पल पहनना शुरू किया था, वरना विधायक रहते हुए वह नंगे पांव अपने सारे काम किया करते थे। विधायक शिवरतन शर्मा ने बताया कि 2 साल पहले जब बृजमोहन अग्रवाल और मैं गरियाबंद इलाके में गए थे तो विशेष रूप से मिलने के लिए पुनीत राम साहू जी को बुलवाया। तब वह 78 साल के थे और पता चला कि वह खेत में काम कर रहे हैं। यानी उस वक्त भी उनकी सक्रियता कम नहीं हुई थी। वह मजाक में कहा करते थे कि मेरे जीते जी हमारे क्षेत्र में कभी कांग्रेस नहीं जीतेगी और यही हुआ। उनके गांव को आज भी भाजपा का गढ़ माना जाता है।
बता दें कि पुनीत राम साहू राजिम क्षेत्र से विधायक रहे इससे क्षेत्र में उस जमाने में श्यामाचरण शुक्ल का दबदबा हुआ करता था जो खुद मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री थे। सीएम के क्षेत्र से विधायक का चुनाव जीतना एक बड़ी बात हुआ करती थी। यह उनकी सरलता की वजह से ही संभव हो पाया।
जब भाटापारा विधायक राधेश्याम शर्मा ने निकली थी रिवॉल्वर
कांग्रेस से भाटापारा के विधायक राधेश्याम शर्मा को लेकर भाजपा विधायक शिवरतन शर्मा ने दिलचस्प किस्सा बताया। उन्होंने कहा कि 2 बार हम चुनावों में आमने-सामने हुए । एक बार मुझे जीत मिली तो दूसरी बार हार । सहकारिता के आंदोलनों में भी हम टकराए। राधेश्याम शर्मा बेबाक थे, इतने की अपनी ही पार्टी के खिलाफ कुछ बोलना हो तो नहीं चूकते थे । एक बार दिग्विजय सिंह मुख्यमंत्री थे तो उन्होंने अपनी ही पार्टी के खिलाफ कह दिया कि यह सरकार अली बाबा और 40 चोर की सरकार है ।
शिवरतन शर्मा ने बताया कि राधेश्याम शर्मा दबंग व्यक्ति थे। एक बार मेरे और उनके बीच विवाद इस कदर बढ़ गया कि उन्होंने चुनाव से पहले रिवॉल्वर निकाल ली, वह पोलिंग का दिन था । मगर चुनाव खत्म होते ही मुझे साथ चाय पीने बैठा लिया । इसके बाद भी मारपीट के हालात बने हमारे बीच। मगर वह अक्सर चुनाव खत्म होने के बाद पहल करते हुए बातचीत कर विवाद को खत्म कर दिया करते थे, ऐसा व्यक्तित्व हो पाना मुश्किल है।
स्व. साहू सहज व सरल व्यक्ति थे, वहीं स्व. शर्मा जन संघर्षों के नेता थेः सीएम बघेल
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि पुनीत राम साहू सहज और सरल व्यक्ति थे जिसकी वजह से जनता उन्हें पसंद करती थी । विधायक राधेश्याम शर्मा जन संघर्षों के नेता थे लोगों के अधिकारों के लिए उन्होंने अपना जीवन समर्पित किया, ऐसे विभूतियों के निधन पर मैं उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित करता हूं। सभा में इन दोनों ही सदस्यों को श्रद्धांजलि दिए जाने के बाद प्रश्नकाल की कार्यवाही आगे बढ़ी । विधानसभा अध्यक्ष चरणदास महंत ने कहा कि मैं शोकाकुल परिवार के प्रति संवेदना व्यक्त करता हूं, गुरुवार को विधान सदन की कार्रवाई इन दोनों सदस्यों को श्रद्धांजलि देने के बाद 10 मिनट के लिए स्थगित कर दी गई।