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0 चीन के मुकाबले हमारी पॉपुलेशन 30 लाख ज्यादा

न्यूयार्क। भारत दुनिया में अब सबसे ज्यादा आबादी वाला देश बन गया है। यूनाइटेड नेशंस पॉपुलेशन फंड (यूएनएफपीए) की रिपोर्ट में सामने आया है कि भारत में अब चीन के मुकाबले करीब 30 लाख ज्यादा लोग हैं। आंकड़ों के मुताबिक, भारत की जनसंख्या 142 करोड़ 86 लाख है। वहीं चीन की जनसंख्या 142 करोड़ 57 लाख ही है। चीन में बच्चे पैदा करने की दर कम हुई है, और वो इस साल माइनस में दर्ज की गई। रिपोर्ट के मुताबिक अब दुनिया की आबादी 8 अरब हो गई है। 

साल की शुरुआत में ही ग्लोबल एक्सपर्ट्स ने अनुमान लगाया था कि 2023 में भारत सबसे ज्यादा जनसंख्या वाला देश बन जाएगा। यूएनएफपीए के नए आंकड़ों ने इस पर मुहर भी लगा दी है। संयुक्त राष्ट्र की रिपोर्ट के अनुसार एक साल में भारत की जनसंख्या 1.56 फीसदी बढ़ी है।

यूनाइटेड नेशंस पॉपुलेशन फंड (यूएनएफपीए) ने हैरान कर देने वाले आंकड़े जारी किये है। साल की शुरूआत में ही ग्लोबल एक्सपर्ट्स ने अनुमान लगाया था कि 2023 में भारत सबसे जनसंख्या वाला देश बन जाएगा। यूएनएफपीए के नए आंकड़ों ने इस पर मुहर भी लगा दी है। संयुक्त राष्ट्र की रिपोर्ट के अनुसार एक साल में भारत की जनसंख्या 1.56 फीसदी बढ़ी है। दुनिया में सबसे ज्यादा आबादी वाला देश अब चीन नहीं है, बल्कि अपना देश भारत  है। 

यूएनएफपीए ने जारी किए ताजा आंकड़े
यूनाइटेड नेशंस पॉपुलेशन फंड की एक ताजा रिपोर्ट आई है। ‘द स्टेट ऑफ वर्ल्ड पॉपुलेशन रिपोर्ट 2023’, जिसे ‘8 बिलियन लाइव्स, इनफिनिट पॉसिबिलिटीज: द केस फॉर राइट्स एंड चॉइस’ के टाइटल से जारी किया गया है, उसमें कहा गया है कि अब भारत की जनसंख्या 1,428.6 मिलियन है, जबकि चीन की जनसंख्या 1,425.7 मिलियन है. यानी दोनों की जनसंख्या में 2.9 मिलियन का अंतर हो गया है. रिपोर्ट में ताजा आंकड़े ‘डेमोग्राफिक इंडिकेटर्स’ की कैटेगरी में दिए गए हैं.

6 दशकों में पहली बार भारत की जनसंख्या चीन से ज्यादा
रिपोर्ट में नए आंकड़े ‘डेमोग्राफिक इंडिकेटर्स’ की कैटेगरी में दिए गए हैं। संयुक्त राष्ट्र 1950 से दुनिया में आबादी से जुड़ा डेटा जारी कर रहा है। तब से ये पहला मौका है जब भारत ने जनसंख्या के मामले में चीन को पीछे छोड़ा है। पिछले साल जारी एक रिपोर्ट में सामने आया था कि पिछले 6 दशकों में पहली बार चीन की जनसंख्या में गिरावट दर्ज की गई है। चीन में बच्चे पैदा करने की दर भी कम हुई है, और वो इस साल माइनस में दर्ज की गई।

जनसंख्या कब बढ़ी इसकी जानकारी नहीं
आंकड़े जारी करने के बाद यूएनएफपीए की मीडिया ए़डवाइजर एना जेफरीज ने कहा कि ये साफ नहीं है कि भारत की जनसंख्या चीन से कब आगे निकली। दोनों देशों के आंकड़े जारी करने के समय में काफी अंतर है तो इसका अनुमान लगाना मुश्किल है। हम यही बता सकते हैं कि चीन की जनसंख्या पिछले साल पीक पर थी जिसके बाद इसमें साढ़ें 8 लाख की गिरावट आई थी। वहीं इसके उलट भारत में पॉपुलेशन लगातार बढ़ रही है।

चीन में भारत से ज्यादा जी रहे लोग
चीन में एवरेज लाइफ एक्सपेक्टेन्सी (जीवन की औसत उम्र) भारत से बेहतर है। यहां पुरुषों की औसत उम्र 76 साल और महिलाओं की औसत उम्र 82 साल है। वहीं भारत में पुरुषों की औसत उम्र 74 साल और महिलाओं की औसत उम्र सिर्फ 71 साल है। यूएनएफपीए इंडिया के प्रतिनिध ने कहा कि अब दुनिया की आबादी 8 अरब हो गई है। हम भारत के 1.4 अरब लोगों को 1.4 मौकों के रूप में देखेंगे। उन्होंने कहा कि भारत एक शक्तिशाली देश है। शिक्षा, स्वास्थ्य, स्वच्छता और आर्थिक विकास के मामले में लगातार आगे बढ़ रहा है। हम तकनीकी मामले में हर रोज नए-नए रिकॉर्ड्स बना रहे हैं।

भारत में युवाओं की संख्या ज्यादा
यूएनएफपीए की रिपोर्ट में कहा गया है कि भारत की 25% आबादी 0-14 आयु वर्ग में है। यहां 10-19 साल तक की आयु के लोग 18% हैं। 10-24 साल तक के लोग 26% हैं। 15-64 साल तक के लोग 68% और 65 से ऊपर के लोग 7% हैं। यानी भारत में युवाओं की सबसे ज्यादा तादाद है, लेकिन चीन में ऐसा नहीं है। वहां बूढ़े लोगों की तादाद सबसे ज्यादा है। चीन में 20 करोड़ लोग तो 65 साल से ज्यादा उम्र के हैं।

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