0 कांग्रेस वर्किंग कमेटी (सीडब्ल्यूसी) की मीटिंग व सभी कार्यक्रम रद्द
0 राहुल, खड़गे कर्नाटक से दिल्ली रवाना
0 राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु व प्रधानमंत्री मोदी ने शोक व्यक्त किया
नई दिल्ली। भारत के पूर्व प्रधानमंत्री डॉ मनमोहन सिंह का 92 साल की उम्र में गुरुवार रात निधन हो गया। उन्हें तबीयत बिगड़ने के बाद शाम 8:06 बजे दिल्ली के अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) के इमरजेंसी वार्ड में भर्ती कराया गया था। रात 9:51 बजे उन्होंने अंतिम सांस ली। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु व प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पूर्व प्रधामंत्री स्व. सिंह के निधन पर गहरा शोक व्यक्त किया है।
इस बीच, कर्नाटक के बेलगावी में चल रही कांग्रेस वर्किंग कमेटी (सीडब्ल्यूसी) की मीटिंग रद्द कर दी गई है। साथ ही 27 दिसंबर को होने वाले सभी प्रोग्राम भी कैंसिल कर दिए गए हैं। राहुल गांधी और पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे बेलगावी से दिल्ली रवाना हो गए।
एम्स के बाहर सिक्योरिटी बढ़ा दी गई है। निधन की सूचना मिलते ही सांसद प्रियंका गांधी एम्स पहुंचीं। सोनिया गांधी भी अस्पताल पहुंचीं।
इसी साल 3 अप्रैल को खत्म हुआ था राज्यसभा कार्यकाल
मनमोहन सिंह 3 अप्रैल को राज्यसभा से रिटायर हुए थे। वे 1991 में पहली बार असम से राज्यसभा पहुंचे थे। तब से करीब 33 साल तक वे राज्यसभा के सदस्य रहे। छठी और आखिरी बार वे 2019 में राजस्थान से राज्यसभा सांसद बने थे। मनमोहन सिंह के रिटायरमेंट पर कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने उन्हें खत भी लिखा था। अपनी चिट्ठी में खड़गे ने लिखा था कि- अब आप सक्रिय राजनीति में नहीं होंगे, लेकिन आपकी आवाज जनता के लिए लगातार उठती रहेगी। संसद को आपके ज्ञान और अनुभव की कमी खलेगी।
मनमोहन सिंह की सीट पर कांग्रेस की पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी पहली बार राज्यसभा पहुंची थीं। 20 फरवरी को उन्हें राज्यसभा के लिए निर्विरोध चुना गया था।
मनमोहन सिंह का अकादमिक और राजनीतिक सफर
1957 से 1965- चंडीगढ़ के पंजाब विश्वविद्यालय में अध्यापक बने।
1969 से 1971- दिल्ली स्कूल ऑफ इकोनॉमिक्स में अन्तरराष्ट्रीय व्यापार के प्रोफेसर रहे।
1976- दिल्ली के जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय में मानद प्रोफेसर बने।
1982 से 1985- भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर रहे।
1985 से 1987- योजना आयोग के उपाध्यक्ष रहे।
1990 से 1991- प्रधानमंत्री के आर्थिक सलाहकार रहे।
1991- नरसिंहराव सरकार में वित्त मंत्री बने।
1991- पहली बार असम से राज्यसभा के सदस्य बने।
1996- दिल्ली स्कूल ऑफ इकोनॉमिक्स में मानद प्रोफेसर बने।
1999- दक्षिण दिल्ली से लोकसभा का चुनाव लड़ा लेकिन हार गए।
2001- तीसरी बार राज्यसभा सदस्य बने और सदन में कांग्रेस की ओर से विपक्ष के नेता बने।
2004 से 2014- भारत के प्रधानमंत्री रहे।
2019-2024 छठी बार राज्यसभा के सदस्य रहे।