0 प्रदेश में पर्यटकों के लिए अपने किस्म का पहला मिडवे रिसार्ट जहां राष्ट्रीय एवं अंतर्राष्ट्रीय स्तर के व्यंजन उपलब्ध होगा
0 रायपुर-जगदलपुर नेशनल हाईवे में केशकाल घाटी से लगे हुए 25 एकड़ में फैला है रिसार्ट
0 रायपुर से 160 और जगदलपुर से 140 किमी में खालेमुरवेंड में बना है रिसार्ट
0 रिसार्ट के फूड जोन में टूरिस्ट का प्रवेश निःशुल्क रहेगा
0 मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने किया लोकार्पण
केशकाल। रायपुर से बस्तर की ओर जाने वाले बेहद व्यस्त नेशनल हाईवे में अब तक कोई ऐसा अच्छा फूड जोन नहीं था, जहां टूरिस्ट थकान दूर कर सकें और हाइजिनिक फूड का सेवन कर तथा चारों ओर फैली प्राकृतिक सुंदरता के वातावरण में कुछ समय बिताकर आगे बढ़ सकें। खाल्हेमुरवेंड में बने लीमदरहा मिडवे रिसार्ट ने यह कमी पूरी कर दी है। यह प्रदेश का पहला सर्व सुविधायुक्त मिडवे रिसार्ट होगा, जहां राष्ट्रीय एवं अंतर्राष्ट्रीय स्तर के व्यंजन उपलब्ध होंगे।
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने 7 करोड़ रूपए की लागत से निर्मित अपनी तरह के अनूठे रिसॉर्ट का आज लोकार्पण किया। इस मौके पर मुख्यमंत्री के साथ कोण्डागांव विधायक मोहन मरकाम, केशकाल विधायक संतराम नेताम, अंतागढ़ विधायक श्री अनूप नाग, नारायणपुर विधायक चंदन कश्यप, मुख्यमंत्री के सलाहकार राजेश तिवारी सहित अन्य जनप्रतिनिधि उपस्थित थे। इस मौके पर यहां घूमने आए पर्यटकों ने मुख्यमंत्री के साथ सेल्फी खिंचाने का आग्रह किया तथा सुझाव दिया कि यहां पर गेम जोन भी होता तो बच्चों को घूमने में और भी मजा आता। पर्यटकों के सुझाव पर मुख्यमंत्री ने कहा कि जल्द ही यहां गेम जोन विकसित किया जाएगा। मुख्यमंत्री ने ई-रिक्शा में बैठकर लीमदरहा रिसोर्ट का निरीक्षण किया।
जिला प्रशासन कोंडागांव द्वारा बनवाया गया यह रिसार्ट यात्रियों को स्वादिष्ट फूड चेन के साथ ही हाइजिनिक टायलेट युक्त सुंदर काटेज भी रिफ्रेशमेंट के लिए उपलब्ध होगा। इसके साथ ही यहां स्थानीय लोगों को बड़े पैमाने पर रोजगार भी दिलाया जा सकेगा। उल्लेखनीय है कि इस एनएच से हर दिन 200 बसें और हजारों कारें गुजरती हैं। खाल्हेमुरवेंट रायपुर से 160 किमी और जगदलपुर से 140 किमी है। इस तरह दोनों ओर से आने वाले यात्रियों के लिए सही समय पर सुस्ताने का शानदार मौका उपलब्ध कराएगा। इसके साथ ही बेरोजगार लोगों को रोजगार के बड़े पैमाने पर मौके भी उपलब्ध होगा।
लीमदरहा मिडवे रिसार्ट 25 एकड़ में फैला है और इसके बगल से लीमदरहा नाला गुजरता है। वैसे तो इस नाले का पानी गर्मी में सूख जाता था लेकिन राज्य सरकार के नरवा प्रोजेक्ट की वजह से अब इसमें साल भर पानी रहता है। यह रिसार्ट तीन भागों में बटा है। पहला फूड जोन जिसमें 10 शाप हैं जो कई तरह के फूड आप्शन लोगों को उपलब्ध होंगेे। दूसरा डाइनिंग रेस्टोरेंट जहां नाले का सुंदर व्यू मिलेगा और काटेज की सुविधा उपलब्ध होगी। तीसरे भाग में चार शाप आवंटित किये गये हैं जिसमें सी-मार्ट, शबरी जैसे शाप होंगे जहां दैनंदिनी से जुड़े सामान मिलेंगे। रिसार्ट के सभी कर्मचारी स्थानीय हैं। इनमें पहले साल में 50 युवा भर्ती होंगे। दूसरे साल 100 और तीसरे साल 150 और चौथे साल तक कर्मचारियों की संख्या 200 हो जाएगी।
उल्लेखनीय है कि टूरिस्ट हाटस्पाट के रूप में बस्तर तेजी से विकसित हो रहा है। केशकाल घाट बस्तर का प्रवेश द्वार है। लीमदरहा मिडवे रिसार्ट केशकाल घाट से लगा है। इसके 40 काटेज एक दो साल में बन जाएंगे और पर्यटकों को रूकने की सुविधा भी मिल पाएगी। अगले छह महीनों में पर्यटकों को कन्वेंशन हाल की सुविधा भी मिल पाएगी।
लीमदरहा का प्रबंधन पीपीपी माडल पर होगा। प्रापर्टी को चलाने तथा इसका प्रबंधन करने का जिम्मा ग्रैंड इम्पीरिया का होगा। यह रायपुर की एक होटल चेन है जिसने नीलामी में हिस्सा लेकर यह अधिकार हासिल किये। साल भर का रेंट 10 लाख 51 हजार रुपए होगा जो निजी प्रबंधन जिला प्रशासन को देगा। इस राशि का उपयोग स्थानीय लोगों के लिए रोजगार के अवसरों को बढ़ाने में होगा। लीमदरहा मिडवे रिसार्ट की सबसे बड़ी खूबी यह है कि यहां के प्रसाधन और फूड जोन के लिए टूरिस्ट का प्रवेश हमेशा निःशुल्क रहेगा।