14 दिसंबर को मोक्षदा एकादशी है। यह पर्व हर साल मार्गशीर्ष माह में शुक्ल पक्ष की एकादशी को मनाया जाता है। इस दिन गीता जयंती भी मनाई जाती है। पंचांग अनुसार, मार्गशीर्ष माह में शुक्ल पक्ष की मोक्षदा एकादशी सोमवार 13 दिसंबर को रात्रि 9 बजकर 32 मिनट पर शुरू होकर 14 दिसंबर को रात में 11 बजकर 35 मिनट पर समाप्त होगी। धार्मिक मान्यता है कि महाभारत काल में भगवान श्रीकृष्ण ने अपने अर्जुन को मोक्षदा एकादशी को गीता उपदेश दिया था। अत: एकादशी को भगवान विष्णु जी की विशेष पूजा-आराधना की जाती है। मोक्षदा एकादशी व्रत के पुण्य-प्रताप से व्रती को बुरे से बुरे पापकर्मों के पाश से मुक्ति मिल जाती है। साथ ही मरणोपरांत मोक्ष की प्राप्ति होती है। कालांतर से ऋषि मुनियों ने मोक्षदा एकादशी कर मोक्ष की प्राप्ति की है। आइए, मोक्षदा एकादशी के दिन भगवान श्रीहरि विष्णु को प्रसन्न करने के उपाय जानते हैं-
- एकादशी के दिन तुलसी का पौधा लगाना शुभ होता है। इसके लिए मोक्षदा एकादशी के दिन तुलसी का पौधा जरूर लगाएं। एक चीज का ध्यान रखें कि तुलसी का पौधा पूर्व की दिशा में लगाएं।
-एकादशी को गेंदे का फूल लगाना भी शुभ होता है। साधक घर के उत्तर दिशा में गेंदे का फूल लगा सकते हैं।
-धार्मिक मान्यता है कि आंवले के पौधे में भगवान विष्णु जी वास करते हैं। अत: मोक्षदा एकादशी के दिन घर पर आंवले का पौधा लगाएं।
-एकादशी के दिन गरीबों और जरूरतमंदों को अपनी आर्थिक स्थिति के अनुरूप दान जरूर दें।
-ज्योतिषों की मानें तो एकादशी के दिन घर या घर के छत पर पीला ध्वजा जरूर लगाएं।
-एकादशी के दिन तुलसी दल युक्त खीर बनाकर भगवान विष्णु को अर्पित करें।
-मोक्षदा एकादशी के दिन गरीबों को पीले रंग का वस्त्र, अन्न और पीले रंग की आवश्यक वस्तुएं भेंट करें।
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