
रायपुर। रायपुर में राज्योत्सव के अवसर पर मंगलवार को शुरू हुए तीन दिवसीय राष्ट्रीय आदिवासी नृत्य महोत्सव के पहले दिन विभिन्न राज्यों के आए कलाकारों ने मोहक प्रस्तुति दी। गुजरात के सिद्धिगोमा जनजाति के कलाकारों ने पारंपरिक नृत्य की प्रस्तुति से दर्शकों को मंत्रमुग्ध।
बता दें कि इस नृत्य में केवल पुरुष कलाकार ही भाग लेते हैं। मोर पंख और कौड़ियों से सजे धजे वस्त्र पहनकर सिद्धी आदिवासियों की हैरतअंगेज प्रस्तुति बरबस ही लोगों का ध्यान खींच लेती है।
कहा जाता है कि सिद्धि मूलतः अफ्रीका मूल की जनजातियां है जिन्हें 500 वर्ष पूर्व पुर्तगालियों ने भारत में बसाया था। यह जनजाति मुख्यतः कर्नाटक, गोवा और गुजरात में निवास करती है।