Head Office

SAMVET SIKHAR BUILDING RAJBANDHA MAIDAN, RAIPUR 492001 - CHHATTISGARH

tranding

0 छत्तीसगढ़ सरकार का विद्यार्थियों के हित में बड़ा निर्णय
0 अभी तक स्कूल-कॉलेजों के लिए हर साल बनवाना पड़ता था
0 खो गया तो नकल मिलेगी

रायपुर। छत्तीसगढ़ के स्कूलों में ही अब विद्यार्थियों को स्थायी जाति प्रमाणपत्र जारी किया जाएगा। सामान्य प्रशासन विभाग ने इसके लिए सभी कलेक्टरों को निर्देश जारी कर दिए हैं। इसमें स्पष्ट किया गया है कि जाति प्रमाणपत्र अब किसी समय-सीमा का मोहताज नहीं होगा। अर्थात एक बार बना जाति प्रमाणपत्र पूरी उम्र काम देगा। छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा विद्यार्थियों के हित में यह बड़ा निर्णय लिया गया है। अब विद्यार्थियों को प्रतिवर्ष जाति प्रमाण पत्र जारी किए जाने के स्थान पर एक ही बार जाति प्रमाण पत्र जारी किए जाएगा। विद्यार्थियों को जारी जाति प्रमाण पत्र स्थायी अभिलेख की तरह होंगे।

अभी तक छत्तीसगढ़ के स्कूलों-कॉलेजों में दाखिला और छात्रवृत्ति आदि के लिए अस्थायी जाति प्रमाणपत्र जारी करने की व्यवस्था थी। इसकी मान्यता जारी होने से छह महीने तक थी। उसके बाद इसकी मियाद खत्म हो जाती थी। अब सरकार ने इसकी व्यवस्था बदली है। सरकार ने विद्यार्थियों के हित में यह निर्णय लिया है कि विद्यार्थियों को प्रतिवर्ष जाति प्रमाण पत्र जारी किये जाने के स्थान पर एक ही बार जाति प्रमाण पत्र जारी किये जाएं। यह विद्यार्थियों को जारी जाति प्रमाण पत्र स्थायी अभिलेख की तरह होंगे।

सामान्य प्रशासन विभाग द्वारा सभी कलेक्टरों को जारी किए गए निर्देश में स्पष्ट किया गया है कि स्थाई सामाजिक प्रास्थिति प्रमाण पत्र (जाति प्रमाण पत्र) की मान्यता समय साथ खत्म नहीं होगी। अर्थात् यह सर्वदा के लिए होगा। यह एक तरह से स्थायी अभिलेख है। बार-बार जाति प्रमाण जारी किये जाने की आवश्यकता नही है। जाति प्रमाण पत्र खो जाने की स्थिति में प्राधिकृत अधिकारी इसका डुप्लीकेट भी जारी कर सकेगा।

स्कूलों में शिविर लगाकर जाति प्रमाणपत्र बनाने के निर्देश
कलेक्टरों को निर्देश दिए गए हैं कि सभी शासकीय, निजी स्कूलों में कक्षा छठवीं से बारहवीं तक अध्ययनरत अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति एवं अन्य पिछडा वर्ग के विद्यार्थियों के जाति एवं निवास प्रमाण पत्र वहीं बनाएं जाएं। उसके लिए स्कूलों में हर साल शिविर लगाकर रिकॉर्ड लिया जाए और प्रमाणपत्र बनाकर वितरित किया जाए। स्कूलों में लंबित जाति प्रमाण पत्र, निवास प्रमाण पत्र आगामी शैक्षणिक सत्र तक जारी किये जाएं। कलेक्टरों को इस संबंध में मासिक प्रगति रिपोर्ट अनिवार्य रूप से सामान्य प्रशासन विभाग (आरक्षण प्रकोष्ठ) को भेजने के निर्देश दिए गए हैं।