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नई दिल्ली। विपक्षी दलों के इंडिया गठबंधन ने संसद के दोनों सदनों से विपक्ष के सदस्यों के निलम्बन के खिलाफ शुक्रवार (22 दिसंबर) को देशभर में विरोध प्रदर्शन करने का फैसला किया है।
गठबंधन के नेताओं की मंगलवार को यहां हुई बैठक में घटक दलों ने अगले आम चुनाव में जीत के लिए मिलकर काम करने और प्रदेश स्तर पर सीटों के तालमेल को मजबूत के उपाय करने का फैसला किया है।

बैठक के बाद कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि इंडी गठबंधन विपक्ष के सदस्यों के संसद से निलम्बन के खिलाफ 22 दिसम्बर को देशभर में विरोध प्रदेश करेगा। कांग्रेस प्रवक्ता जयराम रमेश ने कहा “राज्यसभा और लोकसभा के कुल 151 विपक्षी सदस्यों को निलम्बित किया गया है और जैसा कि खडगे जी ने कहा है कि हम 22 दिसंबर को हर राज्य में इसके विरोध में मिलकर प्रदर्शन करेंगे। 

श्री खड़गे ने बैठक की जानकारी देते हुए यह भी कहा “हमारी मुख्य चिंता चुनाव जीतने और गठबंधन के सदस्यों की संख्या बढ़ाने की है। बैठक में तय किया गया है कि गठबंधन के सभी लोग मिलकर काम करेंगे और सीटों के बंटवारे को लेकर स्थानीय स्तर पर बातचीत होगी और कहीं विवाद हुआ तो पार्टी के केंद्रीय नेता उसे सुलझाएंगे।”
उन्होंने कहा कि बैठक में सभी 28 दलों के नेता शामिल हुए और सभी ने बैठक को प्रभावशाली बनाया है और इसके लिए सभी दलों के नेता बधाई के पात्र हैं। उन्होंने उम्मीद जताई कि बैठक के बाद गठबंधन और मजबूत होगा।

गठबंधन के नेता के सवाल पर उन्होंने कहा कि पहले मिलकर सीटें जीतनी हैं और उसके बाद मिलकर अपना नेता तय करेंगे। उन्होंने कहा कि दो-तीन राज्यों में जीत हासिल कर भाजपा का घमंड बढ़ गया है लेकिन इंडी गठबंधन पहले जीत हासिल करेंगे और उसके बाद सांसद किस तरह से अपने नेता का चुनाव करेंगे इस बारे में विचार किया जाएगा।
संसद भवन की सुरक्षा में सेंध के मुद्दे पर सियासी घमासान के बीच इंडी गठबंधन की चौथी बैठक यहां अशोक होटल में बैठक हुई।

बैठक में कांग्रेस की ओर से श्री खड़गे और श्री जयराम रमेश के अलावा कांग्रेस संसदीय दल की नेता सोनिया गांधी, पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी और संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल शामिल हुए। बैठक में जनता दल (यू) के नेता एवं बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और पार्टी अध्यक्ष राजीव रंजन सिंह उर्फ ललन सिंह, तृणमूल कांग्रेस नेता तथा पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी, पार्टी महासचिव अभिषेक बनर्जी, राष्ट्रीय जनता दल के लालू प्रसाद यादव और बिहार के उपमुख्यमंत्री तथा राजद नेता तेजस्वी यादव, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के प्रमुख शरद पवार और सुप्रिया सुले, आम आदमी पार्टी के संयोजक एवं दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान, शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) के प्रमुख उद्धव ठाकरे और आदित्य ठाकरे, मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के सीताराम येचुरी, कम्युनिस्ट पार्टी के ए राजा, आरएसपी के एन के प्रेमचन्द्रन, समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव, महासचिव रामगोपाल यादव, द्रमुक नेता तथा तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन, लोकसभा में पार्टी के नेता टी आर बालू, नेशनल कान्फ्रेंस के फारूक अब्दुल्ला, पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी की महबूबा मुफ्ती, राष्ट्रीय लोक दल के प्रमुख जयंत चौधरी, अपना दल (कमेरावादी) की प्रमुख कृष्णा पटेल, पल्लवी पटेल तथा अन्य कई दलों के नेताओं ने हिस्सा लिया।
इंडी गठबंधन की इससे पहले तीन बैठकें पटना, बेंगलुरु और मुंबई में हुई थी। नवंबर में हुए पांच राज्यों के विधानसभा चुनाव के दौरान इंडी के घटक दलों में तालमेल का आभाव दिखा था।
संसद भवन में सुरक्षा के मुद्दे पर विपक्ष गृह मंत्री के बयान की मांग पर हंगामा कर रहा है और दोनों सदनों में विपक्ष के कुल मिलाकर 151 सदस्य को निलंबित किया गया है। इससे इंडी गठबंधन की चौथी बैठक से पहले घटक दलों को सरकार के खिलाफ एकजुट होकर आवाज उठाने का एक अवसर मिला है।