Head Office

SAMVET SIKHAR BUILDING RAJBANDHA MAIDAN, RAIPUR 492001 - CHHATTISGARH

tranding

0 बनाने में निजी कंपनियां मदद करेंगी
0 7 हजार किग्रा विस्फोटक लेकर उड़ेगा, रडार नहीं पकड़ सकेंगे

नई दिल्ली। भारत में बनने वाले 5वीं पीढ़ी के लड़ाकू विमान यानी एडवांस्ड मीडियम कॉम्बैट एयरक्राफ्ट (एमका) के प्रोडक्शन मॉडल को मंजूरी मिल गई है। केंद्र सरकार ने मंगलवार को यह जानकारी दी।

रक्षा मंत्रालय ने बताया कि एयरक्राफ्ट को बनाने के लिए सरकारी के साथ निजी कंपनियों को भी बोली लगाने का मौका दिया जाएगा। एयरोनॉटिकल डेवलपमेंट एजेंसी (एडीए) जल्द ही इसके लिए एक्सप्रेशन ऑफ इंटरेस्ट (ईओएल) जारी करेगा। एयरक्राफ्ट बनाने में निजी कंपनियों को मौका देने की घोषणा से डिफेंस और इससे जुड़े सेक्टर्स की कंपनियों के शेयर्स में करीब 6 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई। निफ्टी इंडिया डिफेंस इंडेक्स भी 52 सप्ताह के नए हाई 8,674.05 पर पहुंच गया।

एमका प्रोजेक्ट को 2024 में मंजूरी मिली
अप्रैल, 2024 में सुरक्षा पर कैबिनेट समिति (सीसीएस) ने 5वीं पीढ़ी के स्वदेशी फाइटर जेट के डिजाइन और विकास के लिए 15 हजार करोड़ रुपए के प्रोजेक्ट को मंजूरी दी थी। यह फाइटर जेट ‘एडवांस्ड मीडियम कॉम्बैट एयरक्राफ्ट’ (एमका) है। एडीए इस प्रोग्राम के एग्जीक्यूशन और एयरक्राफ्ट डिजाइन करने के लिए नोडल एजेंसी है। एडीए रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (डीआरडीओ) के तहत आता है।
यह भारतीय वायुसेना के अन्य लड़ाकू विमानों से बेहतर होगा। दुश्मन के रडार से बचने के लिए हाईटेक स्टेल्थ टेक्नोलॉजी से लैस होगा। इंटरनेशनल लेवल पर इस्तेमाल हो रहे 5वीं पीढ़ी के अन्य स्टेल्थ लड़ाकू विमानों के जैसा या उससे भी बेहतर होगा।

एमका स्वदेशी तकनीक से बनने वाला दूसरा फाइटर जेट
एडवांस्ड मीडियम कॉम्बैट एयरक्राफ्ट यानी एमका देश में ही विकसित होने वाला दूसरा फाइटर एयरक्राफ्ट होगा। इससे पहले भारत में लाइट कॉम्बैट एयरक्राफ्ट (एलसीए) तेजस और उसके एडवांस्ड वर्जन तेजस मार्क-1 को तैयार किया जा चुका है। इसके और भी उन्नत संस्करण मार्क-1-ए पर काम चल रहा है। जानकारी के मुताबिक एमका 2035 तक एयरफोर्स और नेवी में तैनाती के लिए उपलब्ध हो सकेगा।

भारतीय वायुसेना देश में बने तेजस जेट इस्तेमाल कर रही
30 जुलाई को एयर फोर्स ने जम्मू-कश्मीर के अवंतीपोरा एयरबेस पर हल्के लड़ाकू विमान तेजस एमके-1 को तैनात किया। सेना का कहना है कि पायलट्स घाटी में उड़ान की प्रैक्टिस कर सकें, इसलिए ऐसा किया गया। कश्मीर, पड़ोसी देशों चीन-पाकिस्तान के लिहाज से संवेदनशील है। तेजस एमके-1 मल्टीरोल हल्का लड़ाकू विमान है, जो वायुसेना को कश्मीर के जंगल और पहाड़ी इलाकों में और मजबूत करेगा। भारतीय वायुसेना के पास अभी 31 तेजस फाइटर प्लेन हैं।

4 खूबियों की वजह से कुछ अलग है तेजस
0 इस विमान के 50% कलपुर्जे यानी मशीनरी भारत में ही तैयार हुई है।
0 इसमें इजराइल के ईएल/एम-2052 रडार को लगाया गया है। इससे यह एक साथ 10 लक्ष्यों को ट्रैक कर उन पर निशाना साधने में सक्षम है।
0 बेहद कम जगह यानी 460 मीटर के रनवे पर टेकऑफ करने की क्षमता है।
0 यह फाइटर जेट सुखोई, राफेल, मिराज और मिग से हल्का है। इसका वजन 6500 किलो है।