
0 4 दिन परिवार के साथ रहेंगे, फिर वापस जेल जाना पड़ेगा
रायपुर। छत्तीसगढ़ के शराब घोटाला मामले में सुप्रीम कोर्ट ने कारोबारी अनवर ढेबर को 4 दिन की अंतरिम जमानत दी है। कोर्ट ने मां के खराब स्वास्थ्य के चलते जमानत दी है। ढेबर 4 दिन परिवार के साथ रह सकेंगे। दरअसल, अनवर ढेबर ने अदालत से अपील की थी कि उनकी मां की तबीयत बहुत खराब है। वह उन्हें देखने जाना चाहते हैं।
सुनवाई के दौरान ढेबर के वकीलों ने कोर्ट को बताया कि उनकी मां की हालत गंभीर है। वह अस्पताल में भर्ती हैं। इस पर सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि परिवार के ऐसे समय में इंसान को अपने करीबियों के साथ रहने का मौका मिलना चाहिए।
कोर्ट ने 4 दिन की अंतरिम जमानत मंजूर की। सुप्रीम कोर्ट ने साफ किया कि यह राहत सिर्फ उनकी मां की तबीयत को ध्यान में रखते हुए दी गई है। 4 दिन के बाद उन्हें फिर से वापस जेल जाना होगा।
छत्तीसगढ़ का शराब घोटाला
छत्तीसगढ़ शराब घोटाला मामले में ईडी जांच कर रही है। ईडी ने एसीबी में एफआईआर दर्ज कराई है। जांच के अनुसार 3 हजार करोड़ रुपए से ज्यादा के घोटाले की बात कही गई है। ईडी ने अपनी जांच में पाया कि तत्कालीन भूपेश सरकार के कार्यकाल में आईएएस अफसर अनिल टुटेजा, आबकारी विभाग के एमडी एपी त्रिपाठी और कारोबारी अनवर ढेबर के सिंडिकेट के जरिए घोटाले को अंजाम दिया गया था।
अनवर ने रिश्तेदारों और सीए के नाम से निवेश
सिंडिकेट बनाने वाले कारोबारी अनवर ढेबर को 90 करोड़ से ज्यादा मिले। अनवर ढेबर ने इन पैसों को रिश्तेदारों और सीए के नाम कई कंपनियों में इन्वेस्ट किया। ईओडब्ल्यू की जांच में इस बात का खुलासा हुआ है। ईओडब्ल्यू की चालान के अनुसार शराब डिस्टलर्स से कमीशन और बी पार्ट की शराब बिक्री से मिलने वाले पैसे का 15 प्रतिशत कारोबारी अनवर ढेबर को जाता था। अनवर ढेबर इन पैसों को अपने करीबी विकास अग्रवाल और सुब्बू की मदद से लेता था। विकास अग्रवाल और सुब्बू शराब दुकानों से पैसा वसूलने का काम करते थे।