0 कांकेर में नॉर्थ सब जोनल ब्यूरो में थे सक्रिय
0 एके-47, इंसास-एसएलआर जैसे हथियार भी साथ लाए
कांकेर। छत्तीसगढ़ के कांकेर जिले में रविवार को 21 नक्सलियों ने हिंसा का रास्ता छोड़ दिया। जंगल से निकलकर सभी नक्सली सरेंडर करने कांकेर पहुंचे। इनमें डीवीसीएम, एसीएम जैसे कैडर के नक्सली शामिल हैं। ये सभी नॉर्थ सब जोनल ब्यूरो में सक्रिय थे। सभी नक्सली अपने साथ एके-47, इंसास, एसएलआर जैसे 18 ऑटोमैटिक हथियार भी लाए।
ये सभी नक्सली नॉर्थ सब जोनल ब्यूरो के अंतर्गत केशकाल डिवीजन, कुएमारी, किसकोडो एरिया कमेटी में सक्रिय थे। सरेंडर करने वालों में डीवीसीएम सेक्रेटरी मुकेश भी शामिल है। इन 21 में 8 पुरुष और 13 महिला माओवादी शामिल हैं। इन 21 कैडरों में 4 डीवीसीएम, 9 एसीएम और 8 पार्टी सदस्य शामिल हैं।
नक्सलियों ने 17 अक्टूबर को किया सरेंडर
दरअसल, 7 अक्टूबर को नक्सलियों के माड़ डिवीजन की तरफ से एक पर्चा जारी हुआ था, जिसमें कहा गया था कि 15 अक्टूबर को नक्सली हथियार डालेंगे। वहीं 17 अक्टूबर को आधिकारिक रूप से सीसीएम रूपेश समेत कुल 210 नक्सली हिंसा का रास्ता छोड़े और सरकार के सामने सरेंडर कर दिए थे।
जगदलपुर में पुलिस डीजीपी, एडीजीपी, आईजी समेत अन्य अधिकारियों के सामने इन्होंने हथियार डाला था। इसके बाद छत्तीसगढ़ के सीएम विष्णुदेव साय और गृहमंत्री विजय शर्मा ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा था कि केशकाल इलाके के कुछ नक्सलियों ने सरेंडर नहीं किया है, लेकिन जल्द ही वे भी सरेंडर कर लेंगे। अब, 26 अक्टूबर को 21 नक्सलियों के सरेंडर के बाद उत्तर बस्तर डिवीजन की इंद्रावती एरिया कमेटी का माड़ डिवीजन लगभग खाली हो गया है। ये सभी नक्सली अपने साथ 3 एके-47, 4 एसएलआर, 2 इंसास, 6 303, 2 सिंगल-शॉट राइफल और 1 बीजीएल लॉन्चर लेकर आए थे।
बस्तर और गढ़चिरौली में 292 नक्सलियों ने सरेंडर किया
पिछले करीब 10 दिन में बस्तर में ही 231 नक्सलियों ने हथियार के साथ हिंसा का रास्ता छोड़ दिया है। जबकि, पड़ोसी राज्य महाराष्ट्र के गढ़चिरौली में नक्सली लीडर भूपति समेत 61 नक्सलियों ने हिंसा का रास्ता छोड़ा और हथियार डाल दिए। पिछले 15 दिनों के अंदर इन दोनों जगहों पर 292 नक्सलियों ने सरेंडर किया है।