
रायपुर। विधानसभा बजट सत्र के चौथे दिन शुक्रवार को गृह मंत्री विजय शर्मा ने जिलेवार अपराधों का लिखित आंकड़ा प्रस्तुत किया। प्रस्तुत आंकड़ों के अवलोकन में स्पष्ट है कि डकैती को छोड़ हत्या, लूट,बलात्कार, अपहरण,चोरी के सभी मामलों में राजधानी रायपुर टॉप पर रहा है। इसी तरह हत्या, लूट, चोरी में दुर्ग जिला दूसरे नंबर पर है। डकैती में कोरबा पहले नंबर पर और बीजापुर दूसरे नंबर पर, अपहरण में बिलासपुर दूसरे नंबर पर और बलात्कार में भी बिलासपुर दूसरे नंबर पर है। सभी की लिखित आंकड़े प्रस्तुत किए गए हैं।
खरसिया से कांग्रेस विधायक उमेश पटेल ने अपने लिखित प्रश्न में पूछा कि क्या उप मुख्यमंत्री (गृह) यह बताने की कृपा करेंगे कि प्रदेश में जनवरी, 2024 से जनवरी, 2025 तक हत्या, लूटपाट, अपहरण, चोरी, डकैती, बलात्कार के अपराध प्रकरण के प्रदेश में सर्वाधिक से सबसे कम संख्या वाले जिलों की जानकारी क्रमवार देवें? उक्त क्रम में रायगढ़ जिला की अद्यतन स्थिति की जानकारी देवें? बढ़ते अपराधों को जिला रायगढ़ अंतर्गत कम करने हेतु क्या उपाय किये गये हैं, जानकारी देवें तथा क्या आपराधिक मामलों में एफ. आई. आर. दर्ज करने हेतु कहीं आनाकानी हुई है?
इसके लिखित जवाब में गृह मंत्री विजय शर्मा ने बताया हैं कि जिला-रायगढ़ हत्या में तीसरे, लूट में पॉचवे, अपहरण में दसवें, चोरी में पाँचवे, डकैती में पाँचवे तथा बलात्कार में छठवे क्रम पर है। जिला रायगढ़ में बढ़ते अपराध को कम करने कई उपाय किये जा रहे हैं।
1. जिले में घटित संज्ञेय अपराध की सूचना पर त्वरित प्रथम सूचना पत्र दर्ज कर आरोपियों के विरूद्ध विधिवत् कठोर कार्यवाही की जा रही है तथा आदतन अपराधियों के विरूद्ध गुण्डा फाईल खोली जा रही है तथा संपत्ति संबंधी अपराधों में संलिप्त अपराधियों के विरुद्ध निगरानी की कार्यवाही।
2. सक्रिय एवं आदतन अपराधियों के विरूद्ध प्रभावी प्रतिबंधात्मक कार्यवाही एवं बाउण्ड ओवर तथा जिला बदर की कार्यवाही।
3. चौक-चौराहों, आवासीय परिसरों एवं व्यावसायिक संस्थानों, विभिन्न मागाँ, रेल्वे स्टेशन, बस अनु आदि स्थानों पर शासन एवं स्थानीय जन सहयोग के माध्यम से सीसीटीव्ही कैमरा लगाया गया है।
4. भीड-भाड़ वाले स्थानों जैसे स्कूल, कॉलेज, रेल्वे स्टेशन, बस अड्डा, बाजार इत्यादि स्थानों पर नियमित रूप से पुलिस पेट्रोलिंग एवं गश्त करायी जा रही है। पुलिस बीट प्रणाली को पुनर्जीवित कर बीट में नियमित रूप से भ्रमण व आम जनता के सहयोग से आम जनता के सहयोग से अपराधों की रोकथाम एवं नियंत्रण।
5. जिले के सभी थाना/चौकियों की सूचना तंत्र को सक्रिय कर आदतन अपराधियों, संगठित गिरोह के ऊपर निरंतर निगाह रखी जा रही है। गांव/शहर के प्रमुख व गणमान्य नागरिकों, व्यापरिक संगठनों, बैंक, स्कूल-कॉलेजों के प्रमुखों एवं ग्राम कोटवारों की नियमित रूप से बैठक कर नवीन घटित अपराध की प्रकृति एवं रोकथाम के लिए जागरूक किया जा रहा है। आपराधिक मामलों में एफ. आई.आर. दर्ज करने हेतु आनाकानी नहीं किया गया है।